Apple Exporting More than 90 Percent ‘made in India’ iPhones to America, Donald Trump


अमेरिकी डिवाइसेज मेकर Apple की कॉन्ट्रैक्ट मैन्युफैक्चरर Foxconn ने इस वर्ष मार्च से मई के बीच भारत में मैन्युफैक्चरिंग वाले iPhones में से लगभग 97 प्रतिशत का अमेरिका को एक्सपोर्ट किया है। पिछले वर्ष देश से आईफोन्स का अमेरिका को एक्सपोर्ट औसत 50 प्रतिशत से कुछ अधिक का था। 

यह अमेरिकी प्रेसिडेंट Donald Trump की ओर से चीन पर लगाए गए अधिक टैरिफ से बचने की एपल की एक कोशिश है। आईफोन्स की अधिकांश मैन्युफैक्चरिंग चीन में होती है। पिछले कुछ वर्षों में एपल ने चीन से मैन्युफैक्चरिंग का कुछ हिस्सा भारत में शिफ्ट किया है। Reuters की एक रिपोर्ट के अनुसार, एपल ने भारत से आईफोन्स के लगभग पूरे एक्सपोर्ट को अमेरिका भेजने की स्ट्रैटेजी बनाई है। इससे पहले देश में मैन्युफैक्चरिंग वाले आईफोन्स का ब्रिटेन, नीदरलैंड और चेक गणराज्य को बड़ी संख्या में एक्सपोर्ट किया जाता था। पिछले वित्त वर्ष में भारत में फॉक्सकॉन का रेवेन्यू दोगुने से अधिक बढ़कर लगभग 1.7 लाख करोड़ रुपये का था। फॉक्सकॉन के वर्कर्स की संख्या में 65 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। देश में कंपनी के लगभग 80,000 वर्कर्स हैं। ताइवान की यह कंपनी आईफोन्स की सबसे बड़ी मैन्युफैक्चरर है। हालांकि, इसके पास चीन में आईफोन बनाने की सबसे बड़ी फैक्टरी है। 

कमर्शियल तौर पर उपलब्ध कस्टम्स के डेटा के अनुसार, मार्च से मई के दौरान फॉक्सकॉन ने लगभग 3.2 अरब डॉलर (लगभग 27,547 करोड़ रुपये) के आईफोन्स का भारत से एक्सपोर्ट किया है। इसमें से लगभग 97 प्रतिशत आईफोन्स अमेरिका को भेजे गए हैं। ट्रंप ने बताया है कि चीन पर 55 प्रतिशत का टैरिफ लगाया जाएगा। इसकी तुलना में भारत से एक्सपोर्ट पर कम टैरिफ लगाए जाने की संभावना है। पिछले महीने ट्रंप ने भारत में iPhone की मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाने की Apple की योजना पर नाराजगी जताई थी। ट्रंप ने एपल के चीफ एग्जिक्यूटिव ऑफिसर, Tim Cook को अमेरिका में आईफोन की मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाने के लिए कहा था। 

अमेरिका में एपल के स्मार्टफोन्स की मैन्युफैक्चरिंग नहीं होती। हालांकि, कंपनी ने अमेरिका में अधिक वर्कर्स की हायरिंग करने और अगले चार वर्षों में लगभग 500 अरब डॉलर के इनवेस्टमेंट का वादा किया है। अमेरिका में आईफोन्स की मैन्युफैक्चरिंग करना एपल के लिए मुश्किल होगा। आईफोन्स के लिए सप्लाई चेन और स्किल्ड लेबर पिछले कई वर्षों से चीन में मौजूद है। हाल के वर्षों में एपल ने भारत में अपनी मैन्युफैक्चरिंग का इकोसिस्टम मजबूत बनाने का प्रयास किया है। 

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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